I Am Anonymous Me.People often tell me...What ?...I didn't get you ! Very Non Conclusive on almost every aspect of Life

रंगी को नारंगी कहे , बने दूध को खोया . चलती को गाड़ी कहे , देख कबीरा रोया



दुनिया
के रंग दुनिया के ढंग ,

जिन्होंने नारंगी जैसे रंगे हुए फल को "ना रंगी " नाम दे दिया है ,
दूध से जो बनता है उसे "खोया " कह दिया ,
जो चलते हैं उने कहते हैं "गाड़ी" यानी स्थिर

यही ढर्रा है ... इन्ही के साथ जीना हैं ... ऐसे ही रहना है
क्यूंकि आपको आजीवन अकेले रहना है ना ही आप अकेले कोई परिवर्तन ला सकते हैं

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